रांची: झारखंड प्रदेश कांग्रेस कमिटी के अध्यक्ष केशव महतो कमलेश की अध्यक्षता में आज कांग्रेस भवन, रांची में अप. 12ः15 बजे राजभवन धरना कार्यक्रम की तैयारी बैठक संपन्न हुई। बैठक में मुख्य रूप से आगामी 26 मई 2025 को सरना कोड को लेकर राजभवन के समक्ष विशाल धरना की अपार सफलता पर विचार विमर्श किया गया। इस अवसर पर पूर्व मंत्री बन्ना गुप्ता, रमा खलखो, ओबीसी कांग्रेस अध्यक्ष अभिलाष साहु, रांची महानगर अध्यक्ष डॉ कुमार राजा, आदिवासी कांग्रेस अध्यक्ष जोसाई मार्डी, महिला कांग्रेस अध्यक्ष गुंजन सिंह, राजन वर्मा, विशेष रूप से उपस्थित थे।
बैठक में प्रदेश अध्यक्ष केशव महतो कमलेश ने कहा कि झारखण्ड एक आदिवासी बहुल्य राज्य है जो सरना धर्म को मानने वाले प्राचीन परम्पराओं एवं प्रकृति के उपासक है। सरना धर्म का जीता जागता ग्रन्थ जल जंगल जमीन एवं प्रकृति है। सरना धर्म की संस्कृति पूजा पद्धति, आदर्श एवं मान्यताएं प्रचलित सभी धर्मों से अलग हैं। पेडों पहाड़ों की पूजा तथा जंगलों को संरक्षण देने को ही ये अपना धर्म मानते हैं। आदिवासी सरना समुदाय पिछले कई वर्षों से अपने धार्मिक अस्तित्व की रक्षा के लिए जनगणना कोड में सरना धर्म को शामिल करने की मांग करते रहे हैं।
ज्ञातव्य है कि हिन्दु, मुस्लिम, सिख, इसाई, बौद्ध, जैन के लिए कोड निर्धारित है लेकिन आदिवासी सरना धर्म वालों के लिए जनगणना फॉर्म में अलग से कोड नहीं दिया गया है। झारखण्ड विधानसभा में भी प्रस्ताव पारित कर केन्द्र सरकार से सातवाँ कॉलम जोड़कर आदिवासियों के लिए सरना धर्म को शामिल करने की मांग की गई है पर केन्द्र सरकार मौन है। आगामी 26 मई 2025 दिन सोमवार पूर्वाह्न 11.00 बजे से राजभवन रांची के समक्ष विशाल धरना प्रदर्शन का कार्यक्रम आयोजित किया गया है। उन्होंने सभी कांग्रेसजनों से अनुरोध है कि उक्त धरना प्रदर्शन कार्यक्रम में आदिवासी परम्परागत परिधान के साथ उपस्थित हों
बैठक में सुन्दरी तिर्की, मेरी तिर्की, दयामनी बारला, विलशन टोपनो, अनूप लकड़ा, बैद्यनाथ कोडा, राज बखला, हरिमोहन टूडू, राजेश कुमार हंसदा, समीर हांसदा, सुनील मिंज, हमेन्द्र हांसदा, अजीत पाल कुजूर, गगन कुमार महली, अभिजीत बलमुचू, महेश मुंडा, देवनाथ उरांव, चन्द्रराय मार्डी, विजय देवगम आदि सैकडो कांग्रेसजन शामिल थे।